what is Goods and Service Tax in hindi?
अब आइए दोस्तों इस नई टैक्स प्रणाली जीएसटी को आसान एवं सरल भाषा में समझते हैं।
*CGST: central goods and service tax
यह टैक्स केंद्र सरकार राज्य के अंदर होने वाले लेनदेन पर लगाती है। यह टैक्स केंद्र सरकार वसूलती हैं और इसकी राशि केंद्र सरकार के खाते में जाती है।
आइए देखते हैं किन वस्तुओं पर जीएसटी कितना प्रतिशत टैक्स लगता है।
*0% टैक्स वाली वस्तुएं:
खाने पीने की चीजें जैसे कि दूध, दही, शहद, नमक, मैदा, गुड, गन्ना, गेहूं आटा, बेसन, तेल, अंडा, मछली, चिकन,ताजा फल, सब्जियां आदि।
जीएसटी के आने के बाद जो सबसे बड़ा लाभ हुआ है वह यह है कि अब टैक्स से जुड़ा भ्रष्टाचार नहीं हो सकता क्योंकि अब पूरे देश भर में एक वस्तु पर एक ही टैक्स लग सकता है इससे आम जनता के लिए सहूलियत हो गई है। इसके अलावा राज्य के किसी भी कोने में एक वस्तु का एक ही दाम है। जीएसटी से पहले एक वस्तु पर सात या आठ तरह के टैक्स देने पड़ते थे जिससे कि कुल मिलाकर 50% तक टैक्स हो जाता था लेकिन जीएसटी के आने के बाद चीजें बदल गई है अब किसी वस्तु पर अधिकतम टैक्स 28% ही लग सकता है जो कि आम जनता के लिए अच्छा है। और जीएसटी से रोजाना काम में आने वाली खानपान की चीजें भी सस्ती हुई है जो कि एक अच्छा संकेत है।
हेलो दोस्तों आज की इस पोस्ट में हम आपको बताएंगे की जीएसटी क्या है हिंदी में, व्हाट इज जीएसटी इन हिंदी। दोस्तों वैसे तो जीएसटी को भारत में लागू हुए काफी समय हो गया है और यह टैक्स सिस्टम लगभग पूरे भारत में हर राज्य हर शहर में लागू है लेकिन अभी भी ऐसे कई चीज़े है जीएसटी से जुड़ी जो सब लोग नहीं जानते। या अभी भी भारत के सभी नागरिक इस नए टैक्स सिस्टम जिसका नाम है जीएसटी के बारे में ज्यादा नहीं जानते।
दोस्तों अगर आप भी इस टैक्स सिस्टम के बारे में जानना चाहते हैं तो यह बहुत ही अच्छी बात है क्योंकि आप जो भी चीज खरीदते हैं या जिस भी सेवा के लिए पैसे देते हैं उसमें जीएसटी लगता ही है। आपको इस नए टैक्स सिस्टम के बारे में जरूर जानना चाहिए की इससे आपको क्या लाभ या क्या नुकसान हो रहा है।
आज की इस पोस्ट में हम आपको बताएंगे कि:
*जीएसटी क्या है?
*जीएसटी भारत में कब लागू हुआ?
*किसने लागू किया?
*जीएसटी कितने प्रकार का होता है?
*और इससे चीजें महंगी हुई या सस्ती?
*जीएसटी के क्या लाभ है?
*जीएसटी के क्या नुकसान है?
यहां जानिए
Small Business ideas in hindi
Paise kmne ka tarike
दोस्तों अगर आप भी इस टैक्स सिस्टम के बारे में जानना चाहते हैं तो यह बहुत ही अच्छी बात है क्योंकि आप जो भी चीज खरीदते हैं या जिस भी सेवा के लिए पैसे देते हैं उसमें जीएसटी लगता ही है। आपको इस नए टैक्स सिस्टम के बारे में जरूर जानना चाहिए की इससे आपको क्या लाभ या क्या नुकसान हो रहा है।
आज की इस पोस्ट में हम आपको बताएंगे कि:
*जीएसटी क्या है?
*जीएसटी भारत में कब लागू हुआ?
*किसने लागू किया?
*जीएसटी कितने प्रकार का होता है?
*और इससे चीजें महंगी हुई या सस्ती?
*जीएसटी के क्या लाभ है?
*जीएसटी के क्या नुकसान है?
यहां जानिए
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जीएसटी क्या है हिंदी में? What is GST in Hindi?
दोस्तों जीएसटी का इंग्लिश फुल फॉर्म होता है गुड्स एंड सर्विस टैक्स। अगर हम बात करें इसकी फुल फॉर्म की तो 'गुड्स' का मतलब होता है 'वस्तु' या कोई चीज और 'सर्विस' का मतलब होता है कोई 'सेवा' और टैक्स का मतलब तो आप सभी जानते ही हैं 'टैक्स' यानी कि 'कर'। तो जीएसटी 'गुड्स एंड सर्विस टैक्स' का हिंदी अर्थ हुआ 'वस्तु एवं सेवा कर'।अब आइए दोस्तों इस नई टैक्स प्रणाली जीएसटी को आसान एवं सरल भाषा में समझते हैं।
दोस्तों रोजमर्रा की जिंदगी में हमारी जरूरत के अनुसार हम कोई ना कोई चीज खरीदते ही हैं जैसे कि खाने की चीजें--दूध, दही, शक्कर, तेल, बिस्किट, नमकीन, आटा, दाल आदि इसके अलावा पहनने के लिए कपड़े, शूज आदि। यह सारी चीजें आती है गुड्स के अंतर्गत।
जिन जिन पर हम और आप टैक्स भरते हैं जिसे कहते हैं गुड्स टैक्स।
जरूरत के अनुसार हम वस्तु तो खरीदते ही हैं साथ ही हम सर्विसेज यानी कि सेवाओं का भी इस्तेमाल करते हैं। जैसे कि बस यात्रा, रेल यात्रा, सार्वजनिक स्थानों का इस्तेमाल आदि। इन सभी के लिए भी हम टैक्स देते हैं जिसे कहा जाता है सर्विस टैक्स।
तो दोस्तों अब आप गुड्स एंड सर्विस टैक्स का मतलब समझ गए होंगे। भारत में जीएसटी यानी कि गुड्स एंड सर्विस टैक्स आने से पहले कई तरह के टैक्स वसूले जाते थे। लेकिन अब सभी तरह के लगने वाले अलग अलग टैक्स को हटाकर सिर्फ एक टैक्स लिया जाता है जिसका नाम है जीएसटी। यह एक इनडायरेक्ट टैक्स सिस्टम है मतलब अप्रत्यक्ष कर प्रणाली जो कि बहुत ही बढ़िया है। भारत के बड़े बड़े अर्थशास्त्री नए टैक्स सिस्टम जीएसटी को भारत के लिए एक बड़ा आर्थिक सुधार मानते हैं। क्योंकि जीएसटी के आने से सभी तरह के अलग-अलग टैक्स हटकर पूरे भारत में एक टैक्स लगेगा जिससे कि देश में एक मार्केट बनने में मदद मिलेगी। पहले सेंट्रल और स्टेट गवर्नमेंट दोनों अलग-अलग टैक्स लगाती थी। पहले किसी वस्तु 30% टैक्स लगता था किसी पर 50% टैक्स लगता था और वस्तु का मूल्य देश के अलग-अलग स्थानों में अलग अलग होता था लेकिन जीएसटी के आने के बाद ऐसा नहीं हो सकता क्योंकि अब सिर्फ एक प्रकार का टैक्स लगता है जो कि पूरे देश भर में समान होता है और इसकी खास बात यह है कि किसी भी वस्तु पर 28% टैक्स से ज्यादा नहीं लग सकता।
जिन जिन पर हम और आप टैक्स भरते हैं जिसे कहते हैं गुड्स टैक्स।
जरूरत के अनुसार हम वस्तु तो खरीदते ही हैं साथ ही हम सर्विसेज यानी कि सेवाओं का भी इस्तेमाल करते हैं। जैसे कि बस यात्रा, रेल यात्रा, सार्वजनिक स्थानों का इस्तेमाल आदि। इन सभी के लिए भी हम टैक्स देते हैं जिसे कहा जाता है सर्विस टैक्स।
तो दोस्तों अब आप गुड्स एंड सर्विस टैक्स का मतलब समझ गए होंगे। भारत में जीएसटी यानी कि गुड्स एंड सर्विस टैक्स आने से पहले कई तरह के टैक्स वसूले जाते थे। लेकिन अब सभी तरह के लगने वाले अलग अलग टैक्स को हटाकर सिर्फ एक टैक्स लिया जाता है जिसका नाम है जीएसटी। यह एक इनडायरेक्ट टैक्स सिस्टम है मतलब अप्रत्यक्ष कर प्रणाली जो कि बहुत ही बढ़िया है। भारत के बड़े बड़े अर्थशास्त्री नए टैक्स सिस्टम जीएसटी को भारत के लिए एक बड़ा आर्थिक सुधार मानते हैं। क्योंकि जीएसटी के आने से सभी तरह के अलग-अलग टैक्स हटकर पूरे भारत में एक टैक्स लगेगा जिससे कि देश में एक मार्केट बनने में मदद मिलेगी। पहले सेंट्रल और स्टेट गवर्नमेंट दोनों अलग-अलग टैक्स लगाती थी। पहले किसी वस्तु 30% टैक्स लगता था किसी पर 50% टैक्स लगता था और वस्तु का मूल्य देश के अलग-अलग स्थानों में अलग अलग होता था लेकिन जीएसटी के आने के बाद ऐसा नहीं हो सकता क्योंकि अब सिर्फ एक प्रकार का टैक्स लगता है जो कि पूरे देश भर में समान होता है और इसकी खास बात यह है कि किसी भी वस्तु पर 28% टैक्स से ज्यादा नहीं लग सकता।
जीएसटी भारत में कब लागू हुआ?
जीएसटी भारत में 1 जुलाई 2017 को लागू किया गया। 30 जून 2017 रात के 12:00 बजे के बाद यह टैक्स प्रणाली पूरे भारत में लागू हो चुकी थी। यहाँ देखे GST की सरकारी वेबसाइट।जीएसटी को भारत में किसने लागू किया?
जीएसटी का लागू होना भारत में एक बहुत बड़ा कदम था जोकि मोदी सरकार द्वारा लिया गया। इस टैक्स सिस्टम का उद्देश्य था "one tax one Nation" यानी कि "एक देश एक कर"। जीएसटी के लागू होने से पहले कई तरह के टैक्स लिए जाते थे जैसे कि सर्विस टैक्स, गुड्स टैक्स, वेट, एंटरटेनमेंट टैक्स, लग्जरी टैक्स, एक्साइज ड्यूटी, एडिशनल एक्साइज ड्यूटी टैक्स, आदि। अब इन सभी टैक्स को हटाकर पूरे भारत में अब सिर्फ एक टैक्स वसूला जाता है जिसका नाम है जीएसटी 'गुड्स एंड सर्विस टैक्स'। और यह नया टेक्स सिस्टम देन है मोदी सरकार की।जीएसटी कितने प्रकार का होता हैं?
दोस्तों जीएसटी को लागू करने के लिए इससे मुख्य चार प्रकार में बांटा गया है जो कि इस तरह है:*CGST: central goods and service tax
यह टैक्स केंद्र सरकार राज्य के अंदर होने वाले लेनदेन पर लगाती है। यह टैक्स केंद्र सरकार वसूलती हैं और इसकी राशि केंद्र सरकार के खाते में जाती है।
*SGST: state goods and service tax
यह भी राज्य के अंदर लगाए जाने वाला टैक्स है और यह राज्य सरकार वसूलती है।
यह भी राज्य के अंदर लगाए जाने वाला टैक्स है और यह राज्य सरकार वसूलती है।
*IGST: integrated goods and service tax
जब किसी वस्तु या सेवा का दो राज्य आपस में लेनदेन करते हैं तो उसमें यह टैक्स लगता है और यह टेक्स केंद्र और राज्य सरकार दोनों द्वारा वसूला जाता हैं।
जब किसी वस्तु या सेवा का दो राज्य आपस में लेनदेन करते हैं तो उसमें यह टैक्स लगता है और यह टेक्स केंद्र और राज्य सरकार दोनों द्वारा वसूला जाता हैं।
*UGST/UTGST: union territory goods and service tax
हमारे देश के पांच केंद्र शाशित प्रदेश है। उन्हें जब कोई वस्तु या सेवा दी जाती है तब उनसे यह टैक्स वसूला जाता है।
हमारे देश के पांच केंद्र शाशित प्रदेश है। उन्हें जब कोई वस्तु या सेवा दी जाती है तब उनसे यह टैक्स वसूला जाता है।
जीएसटी किस वस्तु पर कितना % लगता है?
दोस्तों जीएसटी हर वस्तु पर अलग अलग प्रतिशत टैक्स लगता है जैसे कि जीएसटी के अंतर्गत ऐसी कई वस्तुएं हैं जिन पर 0% टैक्स लगता है ऐसी भी वस्तुएं हैं जिन पर 5% टैक्स लगता है, कुछ पर 12% कुछ पर 18% कुछ पर 28%। 28% से ज्यादा टैक्स किसी भी वस्तु पर नहीं लगता।आइए देखते हैं किन वस्तुओं पर जीएसटी कितना प्रतिशत टैक्स लगता है।
*0% टैक्स वाली वस्तुएं:
खाने पीने की चीजें जैसे कि दूध, दही, शहद, नमक, मैदा, गुड, गन्ना, गेहूं आटा, बेसन, तेल, अंडा, मछली, चिकन,ताजा फल, सब्जियां आदि।
*5% टैक्स वाली वस्तुएं:
चाय, कॉफी, मिल्क पाउडर,काजू, बर्फ, रस्क, फ्रोजन सब्जियां, पनीर, दवाएं, ₹500 से कम के शूज, कोयला,केरोसीन, चीनी, आदि। इनके अलावा ट्रांसपोर्ट में हवाई व रेल सेवाओं में तथा छोटे रेस्तरां में भी 5% टैक्स लगता है।
चाय, कॉफी, मिल्क पाउडर,काजू, बर्फ, रस्क, फ्रोजन सब्जियां, पनीर, दवाएं, ₹500 से कम के शूज, कोयला,केरोसीन, चीनी, आदि। इनके अलावा ट्रांसपोर्ट में हवाई व रेल सेवाओं में तथा छोटे रेस्तरां में भी 5% टैक्स लगता है।
*12% टैक्स वाली वस्तुएं
इनमें नॉनवेज, डरी फ्रूट्स, फलो के रस, आयुर्वेदिक दवाइयां, केचप सॉस, गॉगल्स, छाता, आदि तथा सेवाओं में AC होटल, बिजनेस क्लास एयर टिकट, आदि।
इनमें नॉनवेज, डरी फ्रूट्स, फलो के रस, आयुर्वेदिक दवाइयां, केचप सॉस, गॉगल्स, छाता, आदि तथा सेवाओं में AC होटल, बिजनेस क्लास एयर टिकट, आदि।
*18% टैक्स वाली वस्तुएं
इसमें ₹500 से ऊपर के जूते, मिनरल वाटर, बिस्कुट, टिशू पेपर, साबुन, कैमरा, मॉनिटर, स्पीकर, जैसी मशीनें और सेवाओं में वह होटल जहां शराब बेची जाती है, ब्रांडेड कपड़े आदि।
इसमें ₹500 से ऊपर के जूते, मिनरल वाटर, बिस्कुट, टिशू पेपर, साबुन, कैमरा, मॉनिटर, स्पीकर, जैसी मशीनें और सेवाओं में वह होटल जहां शराब बेची जाती है, ब्रांडेड कपड़े आदि।
*28% टैक्स वाली वस्तुएं
शैंपू, शेविंग क्रीम, डिशवॉशर, सोडा वाटर, चॉकलेट, पान मसाला, आदि। व सेवाओं में 5 स्टार होटल, सिनेमा घर, आदि इसके अंतर्गत आते है।
शैंपू, शेविंग क्रीम, डिशवॉशर, सोडा वाटर, चॉकलेट, पान मसाला, आदि। व सेवाओं में 5 स्टार होटल, सिनेमा घर, आदि इसके अंतर्गत आते है।
जीएसटी के क्या लाभ है हिंदी में?
जीएसटी के आने के बाद जो सबसे बड़ा लाभ हुआ है वह यह है कि अब टैक्स से जुड़ा भ्रष्टाचार नहीं हो सकता क्योंकि अब पूरे देश भर में एक वस्तु पर एक ही टैक्स लग सकता है इससे आम जनता के लिए सहूलियत हो गई है। इसके अलावा राज्य के किसी भी कोने में एक वस्तु का एक ही दाम है। जीएसटी से पहले एक वस्तु पर सात या आठ तरह के टैक्स देने पड़ते थे जिससे कि कुल मिलाकर 50% तक टैक्स हो जाता था लेकिन जीएसटी के आने के बाद चीजें बदल गई है अब किसी वस्तु पर अधिकतम टैक्स 28% ही लग सकता है जो कि आम जनता के लिए अच्छा है। और जीएसटी से रोजाना काम में आने वाली खानपान की चीजें भी सस्ती हुई है जो कि एक अच्छा संकेत है।
जीएसटी के क्या नुकसान है हिंदी में?
दोस्तों जीएसटी के नुकसान भी हैं क्योंकि नए टैक्स सिस्टम जीएसटी के आने के बाद सर्विस टैक्स में बढ़ोतरी हुई है सर्विस टैक्स जहां पहले 14.5% था वहीं अब जीएसटी में यह 18% हो गया है। इसके साथ ही जीएसटी के आने के बाद राज्य सरकारों के मुनाफे में बहुत ज्यादा कमी आयी है।
तो दोस्तों आपने देखा कि जीएसटी के आने से हमें लाभ ज्यादा हुआ है और हानि कम लेकिन अगर देखा जाए तो यह एक अच्छा चुनाव था सरकार का। इस से बहुत सारी गलत चीजे ख़तम हुई है।
हमारी यह पोस्ट what is GST in Hindi? जीएसटी क्या है हिंदी में? आपको कैसी लगी यह आप हमें नीचे दिए कमेंट बॉक्स में लिखकर जरूर बताएं और यदि इस पोस्ट से जुड़ा आपका कोई सवाल है तो भी आप हमें कमेंट बॉक्स में पूछ सकते हैं। हम आप को जरूर सुनना चाहेंगे और आपकी मदद करने कि कोशिश करेंगे। मिलते है दोस्तो बिजनेस से जुड़ी हमारी अगली पोस्ट के साथ।
निष्कर्ष
आज की पोस्ट जीएसटी क्या है इन हिंदी में हमने बहुत ही सरल भाषा में समझा कि जीएसटी क्या है ,यह कब लागू हुआ, किसने लागू किया, जीएसटी कैसे काम करता है, इसकी क्या लाभ है, क्या नुकसान है। इन सब चीजों को हमने इस पोस्ट में बहुत अच्छे से समझा। आशा करते हैं कि हमारी आज की इस पोस्ट में आपको जीएसटी से जुड़ी हर जानकारी मिली होगी।हमारी यह पोस्ट what is GST in Hindi? जीएसटी क्या है हिंदी में? आपको कैसी लगी यह आप हमें नीचे दिए कमेंट बॉक्स में लिखकर जरूर बताएं और यदि इस पोस्ट से जुड़ा आपका कोई सवाल है तो भी आप हमें कमेंट बॉक्स में पूछ सकते हैं। हम आप को जरूर सुनना चाहेंगे और आपकी मदद करने कि कोशिश करेंगे। मिलते है दोस्तो बिजनेस से जुड़ी हमारी अगली पोस्ट के साथ।
Bhuc achi jankari di gai hia gst se realted sir agar gst kha kha diffrent lgta hai rate use bhi btaye.
ReplyDeleteThanks gstsuvidhacenters.com